स्तन कैंसर से बचाव के लिए महिलायें अपनाएं यह पांच उपाय: Dr Sumita Prabhakar
अक्टूबर का माह स्तन कैंसर जागरूकता माह के रूप में पूरे विश्व में मनाया जाता है। स्तन कैंसर भारत में होने वाले कैंसर में सबसे आम है । डॉ सुमिता प्रभाकर, प्रसूति और स्त्री रोग विशेषज्ञ, सीएमआई अस्पताल देहरादून और अध्यक्ष कैन प्रोटेक्ट फाउंडेशन, इस बारे में जानकारी साझा कर रही हैं कि स्तन कैंसर होने की संभावना को कैसे कम किया जाए।
स्वयं स्तन परिक्षण Breast Self-Exam
प्रारंभिक पहचान महत्वपूर्ण है, और स्वयं स्तन परिक्षण Breast Self-Exam स्तन कैंसर की प्रारंभिक पहचान के सबसे अच्छे तरीकों में से एक है, इसलिए सभी महिलाओं को माह में एक बार नियमित रूप से स्वयं स्तन परिक्षण करना चाहिए । महिलाएं स्वयं स्तन परिक्षण की विधि जानने के लिए गूगल प्ले स्टोर से कैन ऐप डाउनलोड कर सकती है । Download Canapp from Google Play Store
स्तन कैंसर की स्क्रीनिंग करवाएं Breast Cancer Screening Mammogram
स्तन कैंसर की स्क्रीनिंग का अर्थ है बीमारी के लक्षण या लक्षण दिखने से पहले किसी महिला के स्तनों में कैंसर की जांच करना। स्क्रीनिंग से लाभ कैंसर का जल्दी पता लगाना है, जब इसका इलाज करना आसान होता है। महिला रोग विशेषज्ञ से स्क्रीनिंग के बारे में सलाह ले सकते है।
डॉक्टर से सलाह लें
यदि आपको स्व्यं स्तन परिक्षण में या सामान्य तौर पर भी स्तन में कोई गांठ महसूस होती है या आपको इस बारे में संदेह है कि कुछ गांठ है या नहीं, तो डॉक्टर से सलाह तुरंत ले । डॉक्टरी सलाह लेने में देर करने से कैंसर बढ़ सकता है और ठीक होने की संभावना कम हो सकती है। याद रखे सभी गांठ कैंसर नहीं होते है।
आहार और जीवनशैली को अच्छा बनाये
कैंसर के मामलों में वृद्धि का एक कारण अस्वस्थ्य जीवनशैली और जंक फ़ूड और पोषण की कमी वाले भोजन का लगातार सेवन है। तनाव भी एक योगदान कारक है। संतुलित आहार खाना, अपने वजन की देखभाल करना और तनाव को प्रबंधित करना जीवनशैली में बदलाव हैं जो कैंसर की संभावना को कम करने में मदद कर सकते हैं।
व्यायाम
कई अध्ययनों से पता चला है कि शारीरिक रूप से सक्रिय महिलाओं में निष्क्रिय महिलाओं की तुलना में स्तन कैंसर का खतरा कम होता है। इसलिए रोज़ाना पैदल चले, व्यायाम हार्मोन को संतुलित करने के साथ-साथ तनाव को कम करने में मदद करता है।
डॉ सुमिता प्रभाकर पिछले कई सालो से भारत में महिलाओं को स्तन एवं सर्वाइकल कैंसर के प्रति जागरूक कर रही हैं। डॉ सुमिता कैन प्रोटेक्ट फाउंडेशन संस्था की संस्थापिका है। महिलाओ को स्तन समस्याओं के लिए वह निःशुल्क स्क्रीनिंग की सुविधा उनके गाँवो और शहरो में निःशुल्क शिविर के द्वारा पहुंचा रही हैं।